रेलवे अधिकारियों ने हादसे का कारण पुष्पक एक्सप्रेस के एक डिब्बे में "हॉट एक्सल" और "ब्रेक बाइंडिंग" की वजह से चिंगारी निकलना बताया है। रेलवे सुरक्षा बल और अन्य तकनीकी टीम मामले की जांच कर रही है।
रेल मंत्रालय ने घटना को गंभीरता से लेते हुए जांच के आदेश दिए हैं।
महाराष्ट्र के जलगांव जिले में बुधवार को एक दर्दनाक ट्रेन हादसे में पुष्पक एक्सप्रेस के 11 यात्रियों की मौत हो गई और कई लोग घायल हो गए। हादसा यात्रियों में गलतफहमी की वजह से हुआ। न्यूज़ एजेंसी ANI की रिपोर्ट के मुताबिक, यह घटना तब हुई जब पुष्पक एक्सप्रेस के डिब्बे में आग लगने की अफवाह फैली। घबराहट में कुछ यात्री चलती ट्रेन से कूद गए और पटरी पर आ गए। उसी दौरान, दूसरी दिशा से तेज़ रफ्तार में आ रही कर्नाटक एक्सप्रेस ने उन यात्रियों को अपनी चपेट में ले लिया।
घबराहट में ट्रेन से कूदे यात्री रेलवे अधिकारियों के अनुसार, हादसे की शुरुआत पुष्पक एक्सप्रेस के एक डिब्बे में चिंगारी निकलने से हुई। इस तकनीकी खराबी के कारण यात्रियों में अफरा-तफरी मच गई। डर के मारे यात्रियों ने चेन पुलिंग कर ट्रेन को रोका और कुछ यात्री ट्रैक पर उतर गए। नासिक के डिविजनल कमिश्नर प्रवीण गेदाम ने बताया कि यह घटना जलगांव से लगभग 50 किलोमीटर दूर परधाडे रेलवे स्टेशन के पास हुई। हादसे में शामिल कर्नाटक एक्सप्रेस उसी समय बगल वाली ट्रैक से गुजर रही थी और तेज़ रफ्तार के कारण यात्री अपनी जान नहीं बचा सके।
घटनास्थल पर राहत और बचाव कार्य घटना की सूचना मिलते ही रेलवे और स्थानीय प्रशासन ने राहत और बचाव कार्य शुरू कर दिया। भुसावल के डिविजनल रेलवे मैनेजर (DRM) तुरंत घटनास्थल के लिए रवाना हो गए। 8 एंबुलेंस और रेलवे की मेडिकल टीमें मौके पर पहुंच चुकी हैं। रेलवे प्रवक्ता स्वप्निल नीला ने बताया कि घायलों को पास के अस्पतालों में भर्ती करवाया गया है और उनकी स्थिति पर नजर रखी जा रही है। हादसे में मारे गए लोगों की संख्या बढ़ने की आशंका है।
नेताओं ने जताया दुख गृह मंत्री अमित शाह ने इस हादसे पर गहरा दुख व्यक्त किया। उन्होंने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस से बात कर हालात की जानकारी ली और घायलों को हर संभव मदद देने का निर्देश दिया। उन्होंने ट्वीट कर लिखा, “महाराष्ट्र के जलगांव में हुआ यह रेल हादसा अत्यंत दुखद है। मेरी संवेदनाएं पीड़ित परिवारों के साथ हैं। घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं।” उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी इस हादसे पर शोक जताया और घायलों के जल्द स्वस्थ होने की कामना की।
तकनीकी खराबी के कारण हुआ हादसा रेलवे अधिकारियों ने हादसे का कारण पुष्पक एक्सप्रेस के एक डिब्बे में "हॉट एक्सल" और "ब्रेक बाइंडिंग" की वजह से चिंगारी निकलना बताया है। रेलवे सुरक्षा बल और अन्य तकनीकी टीम मामले की जांच कर रही है। वरिष्ठ अधिकारी यह पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि घटना में किसकी लापरवाही जिम्मेदार थी। प्राथमिक जांच में यह भी सामने आया है कि लगभग 30-35 यात्री ट्रेन की चेन खींचने के बाद घबराकर पटरी पर आ गए थे, जिससे यह बड़ा हादसा हुआ।
रेल मंत्रालय की प्रतिक्रिया रेल मंत्रालय ने घटना को गंभीरता से लेते हुए जांच के आदेश दिए हैं। मंत्रालय ने घायलों के इलाज और मृतकों के परिजनों को हर संभव सहायता देने का आश्वासन दिया है। स्थानीय प्रशासन भी रेलवे अधिकारियों के साथ मिलकर राहत कार्य में लगा हुआ है। इस दर्दनाक हादसे ने एक बार फिर रेलवे सुरक्षा व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
पीड़ित परिवारों के लिए मदद का ऐलान रेलवे और राज्य सरकार ने मृतकों के परिजनों को मुआवजा देने की घोषणा की है। साथ ही घायलों के इलाज का खर्च रेलवे द्वारा उठाया जाएगा। रेलवे अधिकारियों ने आश्वासन दिया है कि भविष्य में इस तरह की घटनाएं रोकने के लिए जरूरी कदम उठाए जाएंगे। यह हादसा न केवल यात्रियों के लिए बल्कि रेलवे प्रशासन के लिए भी एक बड़ी चुनौती बन गया है। इस घटना ने ट्रेन यात्रा के दौरान सुरक्षा और आपदा प्रबंधन को और अधिक मजबूत करने की जरूरत को उजागर किया है।
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